Thursday, July 18, 2013

असल में बाबरी तो बस बहाना है

मुसलमानों के रसुल मुहम्मद की पत्नी ख़दीजा का घर को तोड़कर '''जनता शौचालय''' बना दिया गया है--
मक्का में वैसे तो 1400 साल के पहले की कोई मस्जिद नहीं मिलती है.क्योकि पहले इस्लाम मजहब नहीं था.न तो कोइ अल्लाह था.

फिर भी 1985 के बाद से अब तक लगभग ९५ % पुरानी मस्जिदे और इमारते तोड़ दी गयी है. लगभग 20 इमारते और मस्जिदे मुहम्मद के समय की बची हुयी है.

इस्लामिक मजहब के महत्त्व की '''सात मस्जिद''मुहम्मद की लड़की ने बनवाया था,और मुहम्मद के साथियो की मस्जिदे जो उनके नाम पर थी जैसे

'''मस्जिद अबू बकर' ''-'मस्जिद सलमान अल फ़ारसी'''-मस्जिद उमर इब्न अल खत्ताब'''-मस्जिद सईदा फातिमा बिन्त रसूलुल्लाह'''-और मस्जिद अली इब्न अबू तालिब'''' इन सभी को तोड़ कर गिरा दिया गया है.

--अबू बकर के घर को तोड़कर ''हिल्टन होटल'''बना है.

--मुहम्मद के grandson अली ओरैद के घर और ''मस्जिद अबू कुबिस'''को तोड़कर ''kings palace''' बन चुका है.

---मुहम्मद की पत्नी का घर की जगह अब शौचालय बन गया है.

--मुहम्मद का जन्मस्थान को तोड़कर लाइब्रेरी बन गयी है.

पर मुल्ले केवल बाबरी को न भूलने की जिद पकड़ कर बैठे हैं ; असल में बाबरी तो बस बहाना है ...........

Saturday, July 13, 2013

कुरान की सच्चाई

कुरान की सच्चाई !!!

इस लेख को लिखने से हमारा किसी भी धर्म का विरोध करने का कोई उद्देश्य नही है।
परन्तु यह उन हिंदुओं के लिए है , जो ईश्वर और अल्लाह को एक ही मानते हैं .....!!
मानव एकता और भाईचारे के विपरीत कुरान का मूलतत्व और लक्ष्य इस्लामी एकता व इस्लामी भाईचारा है. गैर मुसलमानों के साथ मित्रता रखना कुरान में मना है. कुरान मुसलमानों को दूसरे धर्मो के विरूद्ध शत्रुता रखने का निर्देश देती है । कुरान के अनुसार जब कभी जिहाद हो ,तब गैर मुस्लिमों को देखते ही मार डालना चाहिए।
कुरान में मुसलमानों को केवल मुसलमानों से मित्रता करने का आदेश है। सुरा ३ की आयत ११८ में लिखा है कि, "अपने (मजहब) के लोगो के अतिरिक्त किन्ही भी लोगो से मित्रता मत करो। "
लगभग यही बात सुरा ३ कि आयत २७ में भी कही गई है, "इमां वाले मुसलमानों को छोड़कर किसी भी काफिर से मित्रता न करे। "
कुरान की लगभग १५० से भी अधिक आयतें मुसलमानों को गैर मुसलमानों के प्रति भड़काती है। सन १९८४ में हिंदू महासभा के दो कार्यकर्ताओं ने कुरान की २४ आयातों का एक पत्रक छपवाया । उस पत्रक को छपवाने पर उनको गिरफ्तार कर लिया गया। परन्तु तुंरत ही कोर्ट ने उनको रिहा कर दिया। कोर्ट ने फ़ैसलादिया,"कुरान मजीद का आदर करते हुए इन आयतों केसूक्ष्म अध्यन से पता चलता है की ये आयते मुसलमानों को गैर मुसलमानों के प्रति द्वेषभावना भड़काती है............."उन्ही आयतों में से कुछ आयतें निम्न है................
सुरा ९ आयत ५ में लिखा है,......."फ़िर जब पवित्र महीने बीत जायें तो मुशरिकों (मूर्ती पूजक) को जहाँ कहीं पाओ कत्ल करो और उन्हें पकड़ो व घेरो और हर घाट की जगह उनकी ताक में बैठो। यदिवे तोबा करले ,नमाज कायम करे,और जकात दे तो उनका रास्ता छोड़ दो। निसंदेह अल्लाह बड़ा छमाशील और दया करने वाला है। "
इस आयत से साफ पता चलता है की अल्लाह और इश्वरएक नही हो सकते । अल्लाह सिर्फ़ मुसलमानों काहै ,गैर मुसलमानों का वह तभी हो सकता है जब की वे मुस्लमान बन जाए। अन्यथा वह सिर्फ़ मुसलमानों को गैर मुसलमानों को मार डालने का आदेश देता है।
सुरा ९ की आयत २३ में लिखा है कि, "हे इमां वालो अपने पिता व भाइयों को अपना मित्र न बनाओ ,यदि वे इमां कि अपेक्षा कुफ्र को पसंद करें ,और तुमसे जो मित्रता का नाता जोडेगा तो ऐसे ही लोग जालिम होंगे। "
इस आयत में नव प्रवेशी मुसलमानों को साफ आदेशहै कि,जब कोई व्यक्ति मुस्लमान बने तो वह अपने माता , पिता, भाई सभी से सम्बन्ध समाप्त कर ले। यही कारण है कि जो एक बार मुस्लमान बन जाता है, तब वह अपने परिवार के साथ साथ राष्ट्र से भी कट जाता है।
सुरा ४ की आयत ५६ तो मानवता की क्रूरतम मिशाल पेश करती है ..........."जिनलोगो ने हमारी आयतों सेइंकार किया उन्हें हम अग्नि में झोंक देगे। जब उनकी खाले पक जाएँगी ,तो हम उन्हें दूसरी खालों से बदल देंगे ताकि वे यातना का रसा-स्वादन कर लें। निसंदेह अल्लाह ने प्रभुत्वशाली तत्व दर्शाया है।"
सुरा ३२ की आयत २२ में लिखा है "और उनसे बढकर जालिम कोन होगा जिसे उसके रब की आयतों के द्वारा चेताया जाए और फ़िर भी वह उनसे मुँह फेर ले।निश्चय ही ऐसे अप्राधिओं से हमे बदला लेना है। "
सुरा ९ ,आयत १२३ में लिखा है की," हे इमां वालों ,उन काफिरों से लड़ो जो तुम्हारे आस पास है,और चाहिए कि वो तुममे शक्ति पायें।"
सुरा २ कि आयत १९३ ............"उनके विरूद्ध जब तक लड़ते रहो, जब तक मूर्ती पूजा समाप्त न हो जाए और अल्लाह का मजहब(इस्लाम) सब पर हावी न हो जाए. "
सूरा २६ आयत ९४ ..................."तो वे गुमराह (बुत व बुतपरस्त) औन्धे मुँह दोजख (नरक) की आग में डाल दिए जायंगे."
सूरा ९ ,आयत २८ ......................."हे इमां वालों (मुसलमानों) मुशरिक (मूर्ती पूजक) नापाक है। "
गैर मुसलमानों को समाप्त करने के बाद उनकी संपत्ति ,उनकी औरतों ,उनके बच्चों का क्या किया जाए ? उसके बारे में कुरान ,मुसलमानों कोउसे अल्लाह का उपहार समझ कर उसका भोग करना चाहिए।
सूरा ४८ ,आयत २० में कहा गया है ,....."यह लूट अल्लाह ने दी है। "
सूरा ८, आयत ६९..........."उन अच्छी चीजो का जिन्हें तुमने युद्ध करके प्राप्त किया है,पूरा भोग करो। "
सूरा १४ ,आयत १३ ............"हममूर्ती पूजकों को नष्ट कर देंगे और तुम्हे उनके मकानों और जमीनों पर रहने देंगे।"
मुसलमानों के लिए गैर मुस्लिमो के मकान व संपत्ति ही हलाल नही है, अपितु उनकी स्त्रिओंका भोग करने की भी पूरी इजाजत दी गई है।
सूरा ४ ,आयत २४.............."विवाहित औरतों के साथ विवाह हराम है , परन्तु युद्ध में माले-गनीमत के रूप में प्राप्त की गई औरतें तो तुम्हारी गुलाम है ,उनके साथ विवाह करना जायज है। "
अल्बुखारी की हदीस जिल्द ४ सफा ८८ में मोहम्मद ने स्वं कहा है, "मेरा गुजर लूट पर होता है । "
अल्बुखारी की हदीस जिल्द १ सफा १९९ में मोहम्मद कहता है ,."लूट मेरे लिए हलाल कर दी गईहै ,मुझसे पहले पे पेगम्बरों के लिए यह हलाल नही थी। "
इस्लाम का सबसे महत्वपूर्ण मिशन पूरे विश्व को दारुल इस्लाम बनाना है। कुरान, हदीस, हिदाया, सीरतुन्नबी इस्लाम के बुनयादी ग्रन्थ है.इन सभी ग्रंथों में मुसलमानों को दूसरे धर्म वालो के साथ क्रूरतम बर्ताव करके उनके सामने सिर्फ़ इस्लाम स्वीकार करना अथवाम्रत्यु दो ही विचार रखने होते है। इस्लाम में लूट प्रसाद के रूप में वितरण की जाती है.......................
अब यह कभी न कहियेगा के ईश्वर और अल्लाह एक हीहैं ....

Sunday, July 7, 2013

इशरत की माँ द्वारा 2004 में मीडिया के सबालो पर दिए गए जबाव पर एक नजर



वाह भाई वाह शमीमा चच्ची ...झूठ बोलना तो कोई तुमसे सीखे ..........!!!

चच्ची क्या सच में तेरी बेटी इशरत जहाँ बहुत मासूम और बेगुनाह थी ...???

आतंकवादी इशरत जहां के इनकाउंटर के बाद इशरत की माँ द्वारा 2004 में मीडिया के सबालो पर दिए गए जबाव पर एक नजर ........ 


प्रश्न: हमारे पास इन्फोर्मेशन है की वो दो तीन दफा बहार गई थी।

शमीमा बानू: ये दूसरी बार है। सर्विस लेने को इंटरव्यू देने गई थी।

प्रश्न: अच्छा अच्छा मतलब सर्विस करने के चक्कर में किसीने उसको फसाई हो ऐसा लगता है क्या ?

शमीमा बानू: वैसा ही लगता है। सर्विस करने के लिए जिसको बोला उसीने उसको फसाई।

प्रश्न: नहीं वो जावेद के साथ ही थी तो जावेदने फसाया हो ऐसा लगता है आपको ?

शमीमा बानू: कौन था वो मुझे नहीं मालूम। सर्विस के लिए कहती थी, अम्मी बोम्बे में ओफ़िस हे वहा मतलब बेठना है, कोम्प्यूटर पे बेठना है कोम्पुटर पे। कोम्प्युटर पे बेठना है वहा, और तीन हजार पगार मिलेंगा, तो मेने कहा ठीक है।

प्रश्न: कोम्प्युटर पे बेठके ही काम करना है तो मुम्बरासे मुम्बई जा के श्याम को वापस आ सकती है, तो चार-चार पांच पांच दीन तक कैसे बाहर रहेती है? कम्प्युटर पे बेठना है तो पूरे दिन बेठो और श्याम को वापस जाओ। चार पांच दिन के लिए गुम होने का तो सवाल नहीं होता। इसका मतलब ये है की ऐसा बोल के उसको और कही ले गए होंगे। इसका मतलब ऐसा ही होता है की बंबई में रहती तो वापस आ जाती। एक बार कम्प्युटरमें बैठती और मुम्बई में रहती तो शामको वापस आ जाती। नहीं आई इसका मतलब ये है की और कई जगा पर ले गए होंगे। कैसा मानना है?

शमीमा बानू: हम को ये सब मालूम नहीं हो सकता है। कोम्प्युटर के लिए गए होंगे। कम्प्युटर जानती है इसलिए। वही है ना की सर्विस के बारे में बोले थे। ठीक है सर्विस करने में ऐसी कोइ बात नहीं है।

प्रश्न: किसने बोला था ऐसा?

शमीमा बानू: वो क्या नाम है? वो क्या नाम आपने बताया?

प्रश्न: रशीद।

शमीमा बानू: हां रशीद।

शमीमा बानू: कह रहा था की ऐसी कोइ बात नहीं है, मतलब सब ओफ़िसमे बैठेंगे और ऐसा कुछ काम नहीं है।

प्रश्न: किसकी ओफ़िस में बेठना है ?

शमीमा बानू: वही जावेद की ओफ़िस है वहा बम्बईमे, वहा बेठना है।

प्रश्न: हां तो अब ये बताओ की कैसे हुआ? रशीदने क्या किया? कहां मिले थे? मुलाक़ात आपकी हुई थी ऐसा भी रशीदने बोला है। तो बताओ कैसे कहा मिले थे? क्या बात हुई?

शमीमा बानू: वो बोला। फ़ोन पे ये बात कराया था। फोन पे बात कराया था। रशीद के पास से। फ़ोन था। वही बात कराया था।

प्रश्न: किस के साथ?

शमीमा बानू: जावेद के साथ। आप आपनी लड़की को भेजती है? तो मेने बोला ठीक है ओफ़िसमें बेठना है तो कोइ बात नही। मैंने बोला क्या देंगे ये बताओ। उसने बोला तीन हजार देंगे।

प्रश्न: नहीं, लेकीन उसने चार चार दिन बीचमे आने का बंध कर दिया, तो फीर आपने सामने से पूछा होगाना जावेदसे की भाइ ये तो ओफ़िस में तो नहीं रहते हो, फीर ये चार चार दिन कैसे हो जाते?

शमीमा बानू: वो बोले की मतलब ओफ़िस के काम से जानेका होता है तो उसने बोला के थोडा काम निकलता है तो बाहर जानेका है। लोगो को बताना पडता है की ये चीज कैसे काम आता है। जैसे सेल्समेन आता है ना?

प्रश्न: किसने बोला ऐसा?

शमीमा बानू: जावेदने।

प्रश्न: बाहर जाना पडता है तो कितनी दफा बाहर गयी बता दो। देखो हमारे पास पता है वो कितनी दफा बाहर गयी थी। पहले आपने बताया की एक दफा बाहर गयी थी। लेकिन ज्यादा दफा बाहर गयी थी।

शमीमा बानू: तीन दफा। ये तीसरी दफा था।

प्रश्न: पहली बार?

शमीमा बानू: शायद एक हप्ते के लिये।

प्रश्न: पहली दफा एक हप्ते के लिए, फिर दूसरी दफा?

शमीमा बानू: दूसरी दफा चार-पांच दिन के लिये।

प्रश्न: चार-पांच दिन के लिए, और ये तीसरी दफा थी और आपने पूछा होगा की कहां कहां जाके आई। हफ्ते भर के लिए कहां रहकर आई? माँ पूछती है ये तो बट नेचरल है!

शमीमा बानू: उसने कहा, वो कहा, लखनौ उसके रिश्तेदार थे।

प्रश्न: वो पैसे किसने दिए थे?

शमीमा बानू: जावेदने वहीने दिए थे.

प्रश्न: आप को दिए थे की?

शमीमा बानू: नहीं लड़की के हाथ में दिए थे।

प्रश्न: जावेद के फ़ोन कहा आते थे?

शमीमा बानू: कभी नीचे , कभी ऊपर। वहां एसटीडी पे बहोत कम आते थे। ज्यादातर रशीद आ के बोलता था, बताता था। नहीं रशीद के पास वो फ़ोन था ना ? मोबाईल।

प्रश्न:जब जब बाहर जाना था तब तब कौन छोडने जाता था?

शमीमा बानू: रशीद ले जाता था।

प्रश्न: रशीद ले के जाता था तो कैसे लेके जाता था?

शमीमा बानू: रीक्षामे ले जाता था। शनिवार को नहीं गइ थी। जुम्मा के दिन ही गयी थी सुबह।

प्रश्न: जुम्मा के दिन सुबह गयी थी, कितने बजे गइ थी?

शमीमा बानू: सुबह छ बजे।

प्रश्न: उसके पास मेसेज किसने दिया? कैसे पता चला की जाने का है?

शमीमा बानू: फोन आया था।

प्रश्न: नहीं मतलब कहां जाती हु नहीं लेकिन फिर जाती हु, मतलब कहां? जावेदने बुलाया है ऐसा कुछ?

शमीमा बानू: हां।

प्रश्न: हां तो इतना तो पक्का है की तुम्हे पता था की वो रशीद के साथ, जावेद के साथ गई थी। इतना पक्का है। जावेद के साथ गई थी और जावेद के वहा नोकरी करती थी। दो दफा लखनौ जा के आई थी जावेद के साथ तो लखनौ क्या काम के लिए गयी थी? वो कुछ बोला था? वहा क्या काम किया उसने जावेद के साथ?

शमीमा बानू: जावेद के साथ गई थी और आई तो बोली अम्मी हमने पूछा क्या काम से गईथी, तो बोले सामान ले जाने का और सेल्समेन कैसे करते है ऐसा करते है।

प्रश्न: और कीतनी बार इशरत बाहर गयी?

शमीमा बानू: ये तीसरी बार है।

प्रश्न: लखनौ के बाजू में कही गई थी?

शमीमा बानू: हां उसके रिश्तेदार थे वहा पर मगर जगह का नाम नहीं मालूम।

प्रश्न: किसके रिश्तेदार थे?

शमीमा बानू: वो जावेद का वो बता रही थी मुझे मालूम नहीं वो कोन था, क्या था। उनके रिश्तेदार थे वो बता रही थी। उनकी बीवी का भाई था, उनके रिश्तेदार थे, भाई थे।

***पवन अवस्थी***

संचार साभार .....http://deshgujarat.com/2013/07/06/shamima-kausar-on-ishrat-jahan-from-the-old-files-of-2004/

इनका कुछ इलाज भी है

एक किताब यूरोप में जले तो - मुस्लिम प्रदर्शन भारत में !!!!
एक कार्टून डेनमार्क में बने तो - मुस्लिम भड़के हिंदुस्तान में !!!!
एक किताब छपे लन्दन में रुश्दी की तो - मुस्लिम दंगे भारत में !!!!!
एक फ़तवा ईरान में जारी तो - मुस्लिम जलूस हिन्दुस्तान में !!!!!!
एक मस्जिद टूटे काठमांडू में तो - मुस्लिम एतराज हिंदुस्तान में !!!!!
इसराइल करे फिलिस्तीन पर हमला तो - जवाब सडको पर देते मुस्लिम हिन्दुस्तान में !!!!!
बौध और मुस्लिम के लड़ाई का म्यांमार में झगडा तो - मुस्लिमो से पिटे हिन्दू हिंदुस्तान में !!!
क्या हिंदुस्तान में पागल कुत्ते यूँ ही हिंदुस्तान की जनता को काटते रहेंगे ?
या इनका कुछ इलाज भी है !!!!!!!!!!!!
एक ही विकल्प - भारत का बेटा भारत पर शासन करे और भारत की आत्मा को प्रतिष्टित करे !!!!!!!!!!!!

Saturday, July 6, 2013

इस्लाम में धर्मनिरपेक्षता और देशभक्ति दोनों हराम है

मुसलमानों ने साफ़ कह दिया है की इस्लाम में धर्मनिरपेक्षता और देशभक्ति दोनों हराम है ! वैसे मुसलमानों की हरकतों से ये तो दिख हि रहा है !

Muslims have made it clear that Patriotism and Secularism both are prohibited in Islam !

Wednesday, July 3, 2013

क्या हिन्दू चुप रहेंगे ??

अब बंगाल में दिन दहाड़े हिन्दू लडकियों का बलात्कार होगा और प्रशासन चुप रहेगा ???
क्या हिन्दू चुप रहेंगे ??
बंगाल में आजकल इस्लामी जिहादियो ने नया जिहाद शुरू किया है, Rape Jihad.
जिसके तहत हिन्दू औरतो का बलात्कार किया जा रहा है.

बंगाल के बर्धमान जिले में दिन दहाड़े २ जिहादी भेडियो ने ११ साल की हिन्दू लड़की का बलात्कार किया. लड़की को बेहोशी की दवा पिलाकर उसके साथ दुष्कर्म किया गया.
दोनों युवक पुलिस की गिरफ्त में है लेकिन अब इलाके का मुस्लिम विधायक सोहराब अली (TMC ) इन दोनों को छुड़ाने की कोशिश कर रहा है.
हिन्दुओ ने जमकर तोड़फोड़ की और ३ गाडियों को आग लगा दी। लोगो की मांग थी की आरोपी लडको को उनके हवाले किया जाये ताकि जनता सही न्याय कर सके.
अब देखना ये है की क्या ममता सरकार हिन्दुओ को न्याय दिलाएगी या मुस्लिम वोटो की खातिर चुप रहेगी.
लगता तो यही है की सरकार न्याय नहीं देगी.
अब हिन्दुओ को खुद न्याय के लिए लड़ना होगा.
क्या आप हमारा साथ देंगे?
याद रहे, अगर आप चुप रहे तो ये घटना कल आपके के साथ भी हो सकती है

इस खबर को शेयर करे और अपने हिन्दू भाइयो तक पहुचाये.

http://hinduexistence.org/2013/05/01/hindu-minor-girl-student-of-sixth-standard-raped-by-two-muslim-miscreants-in-west-bengal-public-protested-violently/

केरल के मुल्ले



केरल के मुल्ले लीबिया के मुल्लों के लिए चंदा और सहायता इकठ्ठा करने की अपील करते हुए... इन्हें अपने ही घर के उत्तराखंड वालों की याद नहीं आई.? 
सत्य कहा है चिड़िया बेचारी होती है और कव्वे.??
एक कव्वे की मौत पर तीन कोस के कव्वे इकट्ठे होकर कांव-कांव करते हैं.!!
उत्तराखंड वालो तुम तो लाचार चिड़िया हो.? 
लानत है कव्वों पर.!!